कंधे पर बैग और मुंह पर मास्क, अब पहले जैसे नहीं रहे स्कूल, छह माह बाद खुले स्कूल
EDUCATION DESK, NATION EXPRESS, गुरुग्राम/फरीदाबाद
अनलॉक 4.0 में लॉकडाउन के छह माह बाद सोमवार से स्कूल खुल गए। संचालकों ने तैयारियों में कोई कमी नहीं छोड़ी है। हालांकि कोरोना संक्रमण के बढ़ते प्रभाव को देखते हुए कुछ स्कूल संचालकों ने स्कूल खोलने पर सहमति जताई तो कुछ ने अभी बंद रखने की बात कही है। अभिभावकों में भी बच्चों को स्कूल भेजने को लेकर अभी असमंजस की स्थिति है। हालांकि आज सुबह जब स्कूल खुले तो यह पहले जैसे नहीं हैं। यहां सभी बच्चे मास्क में दिखे जो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी कर रहे थे। तस्वीरों में देखें स्कूल का पहला दिन गुरुग्राम और फरीदाबाद में कैसा रहा….
पिछले दिनों गृह मंत्रालय ने अनलॉक 4.0 की गाइडलाइन जारी की थी। धार्मिक संस्थानों के साथ स्कूलों को खोलने की मंजूरी दी गई थी। नई गाइडलाइन के तहत स्कूलों में 9वीं से 12वीं तक की कक्षाएं लगाई जा सकती हैं। छोटी कक्षाएं अभी भी प्रतिबंधित रहेंगी। वहीं स्कूल संचालकों को कोविड-19 से बचाव के लिए सभी इंतजाम करने के आदेश दिए गए थे जिसका पालन पहले दिन होता हुआ दिखाई दिया। जितने भी बच्चे स्कूल पहुंचे वह सभी मास्क में नजर आए। उनका तापमान भी जांचा गया और हाथ भी सैनिटाइज कराया गया।
स्कूल के गेट पर हुई थर्मल स्क्रीनिंग
स्कूल में प्रवेश से पहले विद्यार्थियों की गेट पर ही थर्मल स्क्रीनिंग की गई। जांच में अगर शरीर का तापमान सामान्य आया तो ही छात्रों को स्कूल में प्रवेश दिया गया। नियम है कि अगर तापमान सामान्य से अधिक होगा, तो उसे वापस घर भेज दिया जाएगा। मुख्य द्वार पर ही छात्रों को सैनिटाइज किया गया। वहीं स्कूल में विद्यार्थियों को मास्क पहनकर आना अनिवार्य है। अभी केवल उन्हीं अध्यापकों को बुलाया गया है, जिन्होंने हाल ही में कोविड टेस्ट करवाया है और उनकी रिपोर्ट निगेटिव है।
क्या कहना है स्कूल संचालकों का
सरकार के आदेश के बाद 9वीं से 12वीं तक की कक्षाएं शुरू की जा रही हैं। कक्षा में सामाजिक दूरी का पालन करने के लिए 20-20 छात्रों का ग्रुप बनाया गया है। इसके अलावा मुख्य द्वार पर छात्रों और अध्यापकों की थर्मल जांच, सैनिटाइजेशन की व्यवस्था की गई है। अभी केवल उन्हीं अध्यापकों को बुलाया गया है, जिन्होंने हाल ही में कोविड टेस्ट करवाया है और उनकी रिपोर्ट निगेटिव है। कक्षाएं दो-दो घंटे की होंगी। पहली कक्षा सुबह आठ बजे से शुरू होगी। – आनंद गुप्ता, प्राचार्य, विद्या मंदिर स्कूल, सेक्टर-15ए
स्कूल खोलने से पहले अभिभावकों की राय ली गई थी। इसमें अधिकांश अभिभावक कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए बच्चों को स्कूल भेजने के लिए तैयार नहीं हैं। इसलिए अभी स्कूल बंद रखने का निर्णय लिया गया है। बच्चों की ऑनलाइन कक्षाएं जारी रहेंगी। हमारे लिए अभिभावकों की राय प्रथम है। हम उनके साथ चलना चाहते हैं। – अनिल रावल, प्रो. चेयरमैन, रावल एजुकेशनल सोसायटी
क्या कहना है अभिभावकों का
मेरे दो बच्चे हैं। एक चौथी और दूसरा 11वीं कक्षा में है। जिस तरह कोरोना के मामले रोज बढ़ रहे है, उसे देखते हुए बच्चों को अभी स्कूल नहीं भेजने का फैसला लिया है। स्कूल अपने ऊपर कोई जिम्मेदारी नहीं ले रहे हैं। अभिभावकों से लिखने के लिए बोल रहे हैं कि बच्चे को कुछ हुआ तो अभिभावक की स्वयं जिम्मेदारी होगी। – नविता साहू, अभिभावक, आईपी कॉलोनी
बड़े बच्चों को स्कूल भेज सकते हैं, क्योंकि उन्हें सही-गलत की जानकारी होती है। उन्हें कोरोना संक्रमण से बचाव के तरीके समझा सकते हैं और वह नियमों का पालन भी कर सकते हैं। 10वीं, 12वीं की बोर्ड परीक्षा होती है। ऑनलाइन पढ़ाई ठीक से नहीं हो रही। इसलिए स्कूल भेजेंगे।- ममता सोनी, अभिभावक, सेक्टर-37
Report By :- ADITI TIWARI, EDUCATION DESK, NATION EXPRESS, गुरुग्राम/फरीदाबाद