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आज से नेशनल हाईवे के टोल प्लाजा को क्रॉस करते समय फास्टैग जरूरी

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NEWS DESK, NATION EXPRESS, RANCHI

आज से सभी चार पहिया गाड़ियों को टोल चुकाने के लिए फास्टैग लगवाना जरूरी होगा। देश के किसी भी नेशनल हाईवे के टोल प्लाजा को क्रॉस करते समय इसकी जरूरत पड़ेगी। बार-बार टाले जाने के बाद आखिरकार इसे आज से लागू कर दिया गया है। फास्टैग क्या है, कैसे काम करेगा, आप इसे कैसे लगवा सकते हैं

फास्टैग क्या है?

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फास्टैग एक इलेक्ट्रॉनिक टोल कलेक्शन सिस्टम है। जो एक स्टिकर के रूप में होता है। ये आपको अपनी कार या गाड़ी की विंडशील्ड पर लगाना होगा। ये फास्टैग रेडियो-फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (RFID) टेक्नोलॉजी से काम करता है। हर फास्टैग संबंधित गाड़ी के रजिस्ट्रेशन डिटेल के साथ जुड़ा होता है। इसे लगाने के बाद आपको टोल प्लाजा पर रुककर टोल फीस के पैसे कैश के रूप में नहीं देने होंगे।

Image result for FAST TAGये काम कैसे करता है?

जब आप टोल प्लाजा से गुजरेंगे तो टोल प्लाजा पर लगा फास्टैग रीडर आपके फास्टैग के बारकोड को रीड करेगा। इसके बाद टोल फीस आपके बैंक अकाउंट से कट जाएगी। इसके चालू होने के बाद टोल प्लाजा पर गाड़ियों की लंबी-लंबी लाइने नहीं लगेंगी। ये फास्टैग अभी दो पहिया वाहनों के लिए नहीं है। RFID को नेशनल पेमेंट्स कोऑपरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने बनाया है।

फास्टैग कहां से खरीद सकते हैं?

देश के किसी भी टोल प्लाजा से आप फास्टैग खरीद सकते हैं। इसके अलावा एक्सिस बैंक, ICICI बैंक, HDFC बैंक, SBI, कोटक बैंक की ब्रांच से भी आप इसे खरीद सकते हैं। पेटीएम, अमेजन, गूगल पे जैसे ऑनलाइन प्लेटफॉर्म से भी आप इसे खरीद सकते हैं। इनमें से ज्यादातर डिस्काउंट समेत अलग-अलग तरह से ऑफर भी दे रहे हैं। फास्टैग खरीदते समय आपके पास ID प्रूफ और गाड़ी का रजिस्ट्रेशन डॉक्यूमेंट होना जरूरी है।

माई फास्टैग ऐप से जान सकते हैं अपने फास्टैग का स्टेटस

11 फरवरी को सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने लोकसभा में बताया कि कई लोगों के फास्टैग की वैलिडिटी खत्म हो जाने के कारण फास्टैग लेन में गाड़ियों की लाइन लग जाती है। कभी-कभी बिना फास्टैग वाली गाड़ियों के फास्टैग लेन में आ जाने से भी गाड़ियों की लाइन लग जाती है। अगर आपकी गाड़ी में फास्टैग लगा है, तो आप उससे जुड़ी हर जानकारी माई फास्टैग नाम के UPI ऐप पर देख सकते हैं।

इसे नेशनल हाईवे मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड ने तैयार किया है। ये ऐप आपकी गाड़ी के फास्टैग का स्टेटस भी बताता है। इसके साथ ही आप अपने फास्टैग अकाउंट को इस ऐप से लिंक करके पेमेंट भी कर सकते हैं। आप चाहें तो अपने बैंक अकाउंट को इस ऐप से लिंक कर सकते हैं। इससे जब भी आप किसी टोल प्लाजा से गुजरेंगे तो टोल टैक्स आपके अकाउंट से कट जाएगा।

Image result for FAST TAGफास्टैग कितने का मिलेगा और कितने समय के लिए वैलिड होगा?

फास्टैग की कीमत दो चीजों से तय होती है। पहला आपकी गाड़ी कौन सी है और दूसरा आप इसे कहां से खरीद रहे हैं। बैंकों के ऑफर के हिसाब से भी इसकी कीमत में कुछ अंतर मिलेगा। आप जिस बैंक से फास्टैग लेते हैं, वो इश्यू फी और सिक्योरिटी डिपॉजिट के रूप में कितना पैसा चार्ज करता है, उससे भी इसकी कीमत में अंतर आता है। हालांकि अधिकारियों का कहना है कि इसकी वन टाइम फीस 200 रुपए है। रि-ईश्यू करने की फीस 100 रुपए और रिफंडेबल सिक्योरिटी डिपॉजिट 200 रुपए है। एक बार खरीदा गया फास्टैग स्टिकर पांच साल के लिए वैलिड होगा। SBI जैसे बैंक अनलिमिटेड वैलिडिटी का फास्टैग ऑफर कर रहे हैं। जैसे- अगर आप पेटीएम से कार के लिए फास्टैग खरीदते हैं तो आपको इसके लिए 500 रुपए खर्च करने होंगे।

बैंक से फास्टैग लेना हो तो ये डॉक्यूमेंट लेकर जाएं

बैंक से फास्टैग लेने के लिए आपको KYC डॉक्यूमेंट, गाड़ी की RC, पासपोर्ट साइज फोटो, पैन कार्ड, एड्रेस और ID प्रूफ की जरूरत होगी। आप चाहें तो अपना लाइसेंस, ID और एड्रेस प्रूफ के रूप में जमा कर सकते हैं। अगर आप अपने बैंक से फास्टैग लेते हैं, यानी जिस बैंक में आपका अकाउंट है तो वहां आपको सिर्फ RC ले जाने की जरूरत होगी।

देश में ढाई करोड़ फास्टैग यूजर

भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) ने 2019 में फास्टैग से टोल लेने की शुरुआत की थी। जनवरी 2021 तक देशभर में 2.49 करोड़ से ज्यादा फास्टैग यूजर थे। देश के कुल टोल कलेक्शन में फास्टैग की 80% हिस्सेदारी है। जनवरी में फास्टैग के जरिए रोजाना करीब 77 करोड़ रुपए के टोल टैक्स की वसूली हुई।

100% फास्टैग होने पर हर साल 12 हजार करोड़ की बचत होगी

एक स्टडी के मुताबिक टोल प्लाजा पर 100% टोल कलेक्शन फास्टैग से हो तो सालाना करीब 12 हजार करोड़ रुपए की बचत होगी। नोएडा की स्टार्टअप बुल्सआई टेक्नोलॉजी ने 2019 में ये स्टडी की थी। इसमें कहा गया है कि 35% पैसा तो सिर्फ पेट्रोल-डीजल की बचत का है, जो टोल प्लाजा पर इंतजार के दौरान चलने वाली गाड़ियों से खर्च होता है। बाकी 55% इसकी वजह से होने वाले समय की बचत से बचेगा। इसके अलावा टोल प्लाजा पर इंतजार के दौरान होने वाले कार्बन उत्सर्जन की वजह से जो खर्च होता है, उससे भी करीब 10% पैसे की बचत होगी।

Report By :- SHADAB KHAN, NEWS DESK, NATION EXPRESS, RANCHI

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